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Pradosh Vrat 2024: कब रखा जाएगा मार्गशीर्ष माह का पहला प्रदोष व्रत, जानें तिथि और शुभ मुहूर्त

gmedianews24( source) : हिंदू धर्म में प्रदोष व्रत का विशेष महत्व होता है. यह व्रत शिव-गौरी की आराधना के लिए बहुत शुभ माना जाता है. खासकर माना जाता है कि मार्गशीर्ष माह का प्रदोष व्रत करने से जातकों के सभी कष्ट दूर होते हैं और इससे जीवन में खुशहाली आती है. इस दिन भगवान शिव की पूजा आराधना करने के साथ ही पार्वती जी का पूजन करने का भी विशेष महत्व होता है, इससे घर में सुख शांति और खुशियों का आगमन होता है. ऐसे में कार्तिक मास के बाद मार्गशीर्ष माह में प्रदोष व्रत कब किस दिन रखा जाएगा जानें यहां.

प्रदोष व्रत कब है 

हिंदू कैलेंडर के अनुसार, 16 नवंबर से मार्गशीर्ष माह की शुरुआत हो चुकी है और इसका समापन 15 दिसंबर, 2024 को होगा. ऐसे में शुक्ल पक्ष और कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को प्रदोष व्रत रखा जाएगा. मार्गशीर्ष माह का पहला प्रदोष व्रत 28 नवंबर, 2024 को किया जाएगा, यह व्रत मार्गशीर्ष माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को 28 नवंबर सुबह 6:23 पर शुरू होगा और इसका समापन 29 नवंबर को सुबह 9:43 पर होगा. ऐसे में उदया तिथि के अनुसार 28 नवंबर के दिन ही प्रदोष व्रत किया जाएगा. इस दिन गुरुवार भी है, इसलिए इसे गुरु प्रदोष व्रत कहा जा रहा है. इस दिन 2 विशेष संयोग सौभाग्य योग और शोभन योग भी बनने जा रहे हैं.

प्रदोष व्रत में प्रदोष काल के दौरान पूजा करने का विशेष महत्व होता है. ऐसे में प्रदोष काल 28 नवंबर को शाम 5:12 से लेकर 7:55 तक रहेगा. इस दौरान प्रदोष काल की पूजा की जा सकती है. अगर आप भी प्रदोष व्रत करना चाहते हैं तो ब्रह्म मुहूर्त में उठकर स्नान करें. साफ वस्त्र धारण करें. इस दिन देर तक नहीं सोना चाहिए और व्रत में काले कपड़े नहीं पहनने चाहिए. भगवान शिव और मां गौरी की पूजा करने के साथ ही व्रत का संकल्प लें और इस दिन लहसुन-प्याज, मांस-मदिरा और तामसिक भोजन का सेवन ना करें. भगवान शिव की पूजा के दौरान याद रखें कि उन्हें सिंदूर, हल्दी, तुलसी और केतकी के फूल अर्पित ना करें. आप मां गौरी को सिंदूर चढ़ा सकते हैं.

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